अपोलो II मिशन क्या था?
अपोलो II मिशन क्या था?
अपोलो II मिशन, जो 1969 में संपन्न हुआ, एक महत्वपूर्ण घटना था जो मानव इतिहास को बदल दिया। यह मिशन अमेरिकी अंतरिक्ष एजेंसी नासा द्वारा आयोजित किया गया था और इसका मुख्य उद्देश्य था चंद्रमा पर मानव निर्भरता स्थापित करना।
अपोलो II मिशन के दौरान, दो अंतरिक्ष यात्री नील आर्मस्ट्रांग और बज़ आल्द्रिन चंद्रमा की सतह पर उतरे और वहां से वापसी करने का कार्य किया। यह मिशन अपोलो प्रोग्राम का आठवां मिशन था और यह पहली बार था जब मानव चंद्रमा पर जा पहुंचे।
अपोलो II मिशन की यात्रा 16 जुलाई 1969 को शुरू हुई और 24 जुलाई 1969 को सफलतापूर्वक समाप्त हुई। इस मिशन के दौरान, अंतरिक्ष यात्रियों ने चंद्रमा की सतह पर 21 घंटे बिताए और वहां से चंद्रमा की मूर्तियों को और वैज्ञानिक डेटा को भी ले आए।
अपोलो II मिशन के दौरान, चंद्रमा पर उतरने के लिए एक विशेष उपकरण का उपयोग किया गया जिसे लूनर मॉड्यूल कहा जाता है। यह मॉड्यूल चंद्रमा की सतह पर उतरने के लिए उपयोग हुआ और उसके बाद अंतरिक्ष यात्रियों को वापसी के लिए लूनर मॉड्यूल का उपयोग किया गया।
अपोलो II मिशन के दौरान, अंतरिक्ष यात्रियों ने चंद्रमा की सतह पर विभिन्न वैज्ञानिक और तकनीकी प्रय